चेन्नई: तमिलनाडु की राजनीति में बड़ा मोड़ आया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने चेन्नई में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर AIADMK के साथ फिर से गठबंधन की घोषणा की। उन्होंने बताया कि 2026 का विधानसभा चुनाव एडप्पादी पलानीस्वामी के नेतृत्व में लड़ा जाएगा, जबकि सीटों का बंटवारा बाद में तय होगा। यह गठबंधन राज्य में सत्तारूढ़ डीएमके सरकार के खिलाफ बड़ा चुनावी गठजोड़ माना जा रहा है।
शाह ने गठबंधन का किया औपचारिक ऐलान
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को चेन्नई में AIADMK के साथ गठबंधन का औपचारिक ऐलान किया। शाह ने बताया कि 2026 का तमिलनाडु विधानसभा चुनाव एनडीए और अन्नाद्रमुक मिलकर लड़ेंगे, जिसमें AIADMK प्रमुख एडप्पादी के. पलानीस्वामी गठबंधन के चेहरा होंगे।
कोई शर्त नहीं, सीटों का बंटवारा बाद में
अमित शाह ने स्पष्ट किया कि AIADMK की ओर से कोई विशेष मांग या शर्त नहीं रखी गई है। उन्होंने कहा, “दोनों दलों का एक साथ आना राज्य के हित में है, सीटों का बंटवारा उचित समय पर बातचीत से तय किया जाएगा।”
भ्रष्टाचार और अत्याचार बनेंगे चुनावी मुद्दे
शाह ने आगे कहा कि आगामी चुनाव DMK सरकार के भ्रष्टाचार, दलितों और महिलाओं पर अत्याचार जैसे मुद्दों को केंद्र में रखकर लड़ा जाएगा। उन्होंने कहा कि जनता अब DMK सरकार से जवाब मांग रही है और अगले चुनाव में यह गुस्सा वोट में बदलेगा।
जरूरत पड़ी तो बनेगा कॉमन मिनिमम प्रोग्राम
प्रेस कॉन्फ्रेंस में एक सवाल के जवाब में अमित शाह ने कहा कि कुछ मुद्दों पर मतभेद संभव हैं, लेकिन जरूरत पड़ी तो साझा न्यूनतम कार्यक्रम (CMP) भी बनाया जाएगा।
लोकसभा चुनाव में नहीं खुला खाता
2024 के लोकसभा चुनावों में AIADMK और BJP ने अलग-अलग राह चुनी थी, लेकिन दोनों दल एक भी सीट जीतने में नाकाम रहे। तमिलनाडु की 39 में से सभी सीटें DMK के नेतृत्व वाले INDIA गठबंधन ने जीत लीं। इनमें DMK को 22, कांग्रेस को 9, और अन्य सहयोगी दलों को भी उल्लेखनीय सफलता मिली।
पुड्डुचेरी में भी कांग्रेस की जीत
पड़ोसी केंद्र शासित प्रदेश पुड्डुचेरी की एकमात्र लोकसभा सीट पर भी कांग्रेस ने जीत दर्ज की, जबकि NDA का खाता तमिलनाडु और पुड्डुचेरी दोनों में नहीं खुल सका।
तमिलनाडु की राजनीति में एक बार फिर नया समीकरण
AIADMK और भाजपा के इस नए गठबंधन की घोषणा तमिलनाडु की राजनीति में एक बार फिर नया समीकरण तैयार कर सकती है। अब देखना होगा कि यह गठबंधन 2026 में डीएमके के मजबूत किले को चुनौती देने में कितना कारगर साबित होता है।