Raisen News: रायसेन जिले के सोम डिस्टलरी शराब फैक्ट्री में 50 से अधिक बच्चों को रेस्क्यू किया गया है। जिसमें 20 लड़कियां भी शामिल हैं। इसका खुलासा राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम ने किया। इनमें से अधिकतम बच्चों के हाथ भी खराब हो गए थे। शुक्रवार को भी भोपाल के मंडीदीप की 2 फैक्ट्रियों से 36 नाबालिग बच्चों का रेस्क्यू किया गया था।
50 से अधिक बच्चे शराब का बनाने कर रहे थे काम
दरअसल, शनिवार को राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम ने सोम डिस्टलरी का निरीक्षण किया। यहां पर शराब फैक्ट्री में 50 बच्चे काम करते पाए गए। इनमें 20 लड़कियां भी शामिल हैं। राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने बताया कि बचपन बचाओ आंदोलन एनजीओ की तरफ से शिकायत मिली थी। इसमें शराब फैक्ट्री में बच्चों से काम करने का मामला सामने आया। शराब में बनाने में उपयोग होने वाले रसायनों के संपर्क में रहने से कई बच्चों के हाथ की चमड़ी भी जल चुकी है। बच्चों को रेस्क्यू करने एवं एफआईआर दर्ज करने की कार्रवाई की जा रही है।
आबकारी अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई करने नोटिस
आयोग की तरफ से सरकार को आबकारी अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई करने नोटिस जारी किया गया है। इस पूरे मामले में आबकारी अधिकारी की गंभीर लापरवाही सामने आई है। यह फैक्ट्री आबकारी विभाग की देखरेख में संचालित हो रही है। इसके परिसर में ही आबकारी अधिकारी का कार्यालय भी है। आयोग ने आबकारी अधिकारी के विरुद्ध कार्यवाही करने के लिए सरकार को नोटिस जारी किया जा रहा है। Read More…Naxal Encounter in Chhattisgarh: नारायणपुर में पुलिस और नक्सलियों के बीच फिर मुठभेड़, 8 नक्सली ढ़ेर, 1 जवान भी हुआ शहीद
मंडीदीप से रेस्क्यू किए थे 36 नाबालिग
शुक्रवार को मंडीदीप में 2 फैक्ट्रियों से 36 नाबालिग बच्चों का रेस्क्यू किया गया। इनमें से एक फैक्ट्री पारले जी बनाने का काम करती है। और दूसरी फैक्ट्री जी के इलेक्ट्रिकल्स कंपनी है। दोनों जगह से 36 नाबालिग बच्चों का रेस्क्यू किया गया है।